1/07/2021

भंडारण के कार्य, वर्गीकरण या प्रकार

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भंडारण के कार्य (bhandaran ke karya)

भण्‍डारण के कार्य इस प्रकार है--

1. संग्रहण या संचयन 

भण्‍डारण का एक कार्य अतिरिक्‍त वस्‍तुओं का संग्रह करना है इससे जब भी आवश्‍यकता हो, उन्‍हें  उपभोक्‍ताओं को उपलब्‍ध कराया जा सके। एक विपणनकर्ता के लिए यह आवश्‍यक होता है कि वस्‍तु की मांग आने से पूर्व ही वह वस्‍तुओं की सुपुर्दगी योग्‍य स्थिति सुनिश्चित कर दे।

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2. श्रेणीयन, प्रमापीकरण, पैकिंग आदि

भण्‍डारण में विपणन के अन्‍य कार्यो जैसे-- श्रेणीयन, प्रमापीकरण, पैकिंग, मिश्रण आदि कार्यो का भी निष्‍पादन किया जाता है।

3. कीमतों में स्थिरता 

मांग व पूर्ति की स्थिति के अनुसार वस्‍तुओं की कीमतों में परिवर्तन होते रहते है भण्‍डारण के द्वारा इस स्थिति पर नियंत्रण करके कीमतों में स्थिरता रखी जा सकती है ज्‍यादा वस्‍तुओं के भण्‍डारण द्वारा मांग व पूर्ति समानता रखी जा सकती है।

4. वित्‍त प्रबन्धन

भण्‍डारगृह की रसीद प्रस्‍तुत कर माल का मालिक बैंक से ऋण प्राप्‍त कर सकता है इस प्रकार जल्‍दी में माल बेचें बिना ही व्‍यवसायी बैंक से ऋण लेकर अपनी वित्‍तीय आवश्‍यकताओं को पूरा कर सकते है।

5. अन्‍य कार्य

(अ) वस्‍तुओं के छोटे पार्सल तैयार करना।

(ब) कस्‍टम अधिकारियों के निरक्षण के लिए माल को खोलना एवं दोबारा बन्‍द करना। 

(स) निक्ष्‍ोपी के निर्देशानुसार माल को ग्राहकों को सौंपना।

(द) माल की समुचित देखभाल व सुरक्षा व चोरी से बचाना।

भण्‍डारण का वर्गीकरण/प्रकार 

भण्‍डारण दो प्रकार के होते है--

1. सार्वजनिक भण्‍डारगृह

इन भण्‍डारगृहों का उपयोग सभी लोगों के द्वारा किया जा सकता है इसका संचालन का किराया दरें सरकार के द्वारा तय की जाती है सरकार नियमन होते हुए भी ये व्‍यापारिक आधार पर कार्य करते है इनमें वैज्ञानिक आधार पर भण्‍डारण सुविधाएं दी जाती है। भण्‍डारण की आधुनिक सुविधाओं से सुसज्ज्ति होने के कारण इनके निर्माण पर काफी खर्च करना पड़ता है सार्वजनिक भण्‍डारग्रहों में विभिन्‍न प्रकार की हानियों एवं छीजन को काफी हद तक कम किया जा सकता है माल के स्‍वामी और भण्‍डारग्रह के मध्‍य निक्षेपी और निक्षेपगृहीता का सम्‍बन्‍ध होता है।

सार्वजनिक भण्‍डारगृह के लाभ 

1. भण्‍डारण की सुविधा सभी लोगो के लिए होती है सरकारी नि‍यमों  के कारण किराया भी कम ही वसूल किया जाता है।

2. थोडे स्‍थान की आवश्‍यकता  होने पर सार्वजनिक भण्‍डारगृह अत्‍यंत मितव्‍ययी  सिद्ध होते है।

3. मौसमी वस्‍तुओं  के भण्‍डारण हेतु भी उपयुक्‍त है।

4. सार्वजनिक भण्‍डारण श्रेणीयन, प्रमापीकरण, मिश्रण पैकिंग आदि की संवाएं भी प्रदान करते है।

5. अचानक भण्‍डारण सुविधा की आवश्‍यकता होने पर भी सार्वजनिक भण्‍डारण गृह उपयुक्‍त रहते है।

6. इन भण्‍डारगृहों द्वारा निगैमित रसीद पर वित्‍तीय संस्‍थाओं से वित्‍त की सुविधा प्राप्‍त की जा सकती है।

7. क्रेन रेल, पअरी आदि सुविधाओं से मुक्‍त होने के कारण माल को चढाने-उतारने में सुविधा रहती है।

8. योग्‍य एवं कुशल कर्मचारियों के कारण भण्‍डारगृहों को प्रयोग करने वालो को अच्‍छी सेवाएं प्राप्‍त होती है।

2. निजी भण्‍डारगृह 

निजी भण्‍डारगृहों पर स्‍वामित्‍व बड़े-बड़े उत्‍पादकों व थोक व्‍यापारियों का होता है इसका का निर्माण खुद के प्रयोग के लिए किया जाता है और उनका मालिक ही उसका संचालन करता है हमारे देश में इस तरह के भण्‍डारगृह बहुत ही कम है इनका प्रमुख कारण इसके निर्माण में आने वाले अधिक खर्च है निजी भण्‍डारगृह घर या उसके आस-पास या  बाजार के पास में बनाये जाते है आज के समय में भण्‍डारगृह का महत्‍व निरन्‍तर कम होता जा रहा है निजी भण्‍डारगृह की जगी पर अब वितरण केन्‍द्रों की स्‍थापना की जा रही है जिनका प्रमुख उद्धेशय माल के भण्‍डारगृह के स्‍थान पर वितरण के प्रवाह को बनाये रखना है।

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